चुद गई कुड़ी गुजरात की

चुद गई कुड़ी गुजरात की

Chud Gai Kudi Gujrat Ki
मैं आर्यन एक इंजीनियर हूँ और सरकारी कंपनी में मैंनेजर की हैसियत से कार्यरत हूँ। मैं काफ़ी दिनों से अपनी आपबीती साझा करने की सोच रहा था और आज वो समय आ ही गया कि मैं अपना एक प्यारा और उत्तेजक अनुभव अपने सभी मित्रों के साथ साझा करूँ।

बात उन दिनों की है जब मैं कॉलेज में था। तभी एक बार फेसबुक पर एक लड़की से चैटिंग शुरू हुई उसका नाम प्रिया था।

धीरे-धीरे हम अच्छे दोस्त बन गए और हमने फोन पर बातचीत शुरू कर दी। इसी दौरान मुझे पता चला कि वो अहमदाबाद में रहती है और उसके घर वाले ज़्यादातर विदेश यात्रा पर ही रहते हैं।

मैंने जब उससे मिलने की इच्छा जताई तो उसने तुरंत ही मुझे बुला लिया।

मैं अगले ही दिन अहमदाबाद पहुँच गया और एक होटल में सामान रख कर उससे मिलने एक मॉल में पहुँचा।

अभी तक मैंने उसको देखा नहीं था तो मैं बहुत उत्सुक था कि जाने वो कैसी होगी?

थोड़ी ही देर बाद एक बड़ी ही खूबसूरत गोरी और लगभग 5’7″ लंबी बिल्कुल मॉडल जैसे फिगर वाली लड़की सफ़ेद जीन्स और गुलाबी टॉप में आती हुई दिखी और मेरे धड़कते दिल ने भगवान से विनती की कि काश यही हो मेरी प्रिया।

थोड़ी देर में जैसे ही उसकी कॉल मेरे फोन पर आई मैंने बिना कॉल उठाए उसकी ओर मुस्कुराते हुए हाथ बढ़ा कर उसका स्वागत किया।
उसने भी कातिलाना अंदाज से मुस्कुरा कर मुझसे हाथ मिलाया।

पहली बार उसे छूने से ही मेरे दिल की धड़कन तेज हो गईं।

फिर हमने कुछ औपचारिक बातें की और कुछ शॉपिंग करते हुए मॉल में घूमने लगे और फिर मूवी देखने का मन बन गया।

मैंने एक कोने की सीट ली जिससे कोई हरकत करने का मौका मिल सके। अब मैं आपको उसके जिस्म के उतार-चढ़ाव बारे में बताता हूँ।

उफ्फ.. क्या माल थी वो.. एकदम गोरी मदभरी आँखें.. रसीले होंठ.. मस्त कड़क 36″ के उठे और तने हुए मम्मे थे, पतली 28″ की कमर और मस्त गोल उभरे हुए उसके चूतड़ ओह्ह.. माय गॉड.. क्या माल हाथ लगा थी।

मेरे लंड का तो बुरा हाल हो रहा था।

अब मूवी शुरू हुई तो थोड़ी देर बाद उसमें रोमान्टिक सीन आने लगे, जिसका फायदा उठाते हुए मैंने उसके हाथों को सहलाना शुरू कर दिया।

वो भी मेरे कंधे पर अपना सर रख कर मस्त होने लगी।

उसकी इस प्रतिक्रिया से मैंने उत्साहित होते हुए उसके कान के पास धीरे से उसे हल्के से चुम्बन कर लिया।
इस हल्की पर गर्म चुम्मी का जादुई असर हुआ और उसने मेरे होंठों पर चुम्बन कर दिया।

अब तो मैंने सारा संयम भूल कर तुरंत उसे ताबड़तोड़ चूमना शुरू कर दिया।

उसके होंठ आह्ह.. बहुत ही नर्म और गर्म थे। बारी-बारी से दोनों होंठों को चूसता रहा और फिर अपनी जीभ अपनी प्रिया डार्लिंग के मुँह में डाल कर उसके पूरे मुँह को चूस लिया।

मैं सच में सातवें आसमान पर था।

मेरे और प्रिया दोनों के अन्दर आग लग चुकी थी।

मैंने अब ज़्यादा देर ना करते हुए कहा- प्रिया.. अगर तुम्हें कोई दिक्कत ना हो तो अब हमें मेरे होटल में चलना चाहिए।

उसने कहा- बिल्कुल मेरी जान.. अब मुझे तुम्हारा पूरा प्यार चाहिए।

बस फिर क्या था.. हम तुरंत ही होटल चल दिए। कमरे में घुसते ही हम दोनों एक-दूसरे पर टूट पड़े, कब हम दोनों अपने-अपने अन्दरूनी कपड़ों में बाहर आ गए पता ही नहीं चला।

तब मैंने उसे छोड़ा और उसे निहारने लगा।

क्या मस्त और कमाल का माल लग रही थी वो… बिल्कुल जैसे किसी ने संगमरमर तराश कर बनाया हुआ हो।

फिर मैंने उसको प्यार से बिस्तर पर लिटाया और कहा- मेरी जान.. तुम अब मुझे वो करने दो, जिसके बाद तुम आज की मुलाकात कभी नहीं भूलोगी।

ऐसा सुन कर वो कातिलना मुस्कान के साथ बिस्तर पर लेट गई।

मैंने उसके पैर के अंगूठे को चुम्बन किया और अपने मुँह में लेकर किसी लॉलीपॉप की तरह चूसना शुरू कर दिया।

उसकी सिसकारी छूट गई ‘आआआअहह..’

ऐसा ही मैंने उसकी सारी ऊँगलियों के साथ किया… वो पूरी तरह से मदहोश हो चुकी थी, लगातार उसके मुँह से ‘आआआअहह आहह लव मी.. सक..मीईई’ की आवाजें आ रही थीं।

हालांकि अब मेरी हालत बुरी हो चुकी थी।

मैंने उसे अभी भी और बहुत सारा मज़ा देने का ठान लिया था, इसीलिए अब मैंने उसके पैरों को अपनी जीभ से चाटना शुरू कर दिया और धीरे-धीरे ऊपर की ओर बढ़ते हुए उसकी मादक जाँघों को चूमने लगा।

उसके मुँह से बहुत जोरों की ‘आआअहह लव मी..’ की आवाज़ आई और उसने मेरा सिर पकड़ लिया।

अभी मैं उसे इतनी जल्दी कहाँ राहत देने वाला था, मैंने जानबूझ कर उसकी पैन्टी को अभी तक बिल्कुल नहीं छेड़ा था।

अब मैं उसकी कमर और नाभि के गड्डे को जीभ से चूसने लगा।

उसकी हालत इतनी खराब हो चुकी थी कि वो अपनी आँखें भी नहीं खोल पा रही थी।

अब मैंने उसकी ब्रा को उतार दिया और मेरे सामने एक बहुत ही खूबसूरत और जानलेवा नज़ारा था।

उसके मम्मे इतने मस्त थे कि सन्नी लियोन और अमीशा पटेल भी पानी भरने लगें।
उसके चूचुक हल्के चॉकलेटी रंग के बहुत ही सुन्दर और चूमने लायक थे।

मैंने बिना मौका गंवाए तुरंत ही बारी-बारी से उन्हें चूमना शुरू कर दिया।

प्रिया ने पूरी उत्तेजना में आकर अपने हाथ का दबाव मेरे सर पर बनाते हुए मुझे प्यार करने लगी और बोली- मेरी जान.. अब रहा नहीं जाता.. अब ‘सब कुछ’ कर दो।

मैंने उसे चिढ़ाने के लिए कहा- क्या कर दूँ.. मेरी जान?

‘बहुत बदमाश हो तुम.. इतना सता रहे हो और चिढ़ा भी रहे हो..।’

मैंने फिर कहा- अब कैसी शर्म मेरी जान.. जब तक तुम अपने इन सेक्सी होंठों से कहोगी नहीं… मैं अब कुछ नहीं करूँगा।

फिर उसने अपनी तड़पती जवानी से हार मानते हुए आख़िर में थोड़ा शरमाते हुए बोल ही दिया- अब.. चोदो मुझे मेरी जान.. अपना लंड डाल दो मेरी इस तड़पती चूत में..!

इस दौरान वो एक बार पहले ही झड़ चुकी थी इसलिए मैंने तुरंत ही अपना अंडरवियर निकाला और फिर उसकी पैन्टी निकाल कर उसे कामुकता से देखा।

कसम से दोस्तों ऐसी मस्त चूत किसी ब्लू-फिल्म में भी नहीं देखी थी। मुझसे रहा नहीं गया और मैंने उसे चूमना और चूसना शुरू कर दिया।

प्रिया ने अपने दोनों पैर मेरी गर्दन के इर्द-गिर्द फंसा लिए और मैंने अपनी जीभ को चूत के अन्दर घुसा दिया और जीभ से ही उसकी चुदाई शुरू कर दी।
पूरे कमरे में उसकी ‘आआहह ऊ मययई गॉड.. आई लव यू..’ ऐसी आवाजें गूँज रही थीं, पूरे कमरे में चुदाई का माहौल हो गया था।

तभी प्रिया के पूरे जिस्म में एक कंपकंपी शुरू हुई और एक ज़ोर की धार के साथ उसने अपना माल निकाल दिया, जिसे मैंने प्यार से गटक लिया।

अब उसका शरीर सुस्त पड़ गया था। प्रिया की आँखें बंद थीं और वो बेसुध पड़ी थी, पर इस समय मेरे लंड महाराज अपने पूरे शबाब पर थे।

मैं अपना लंड उसके सुर्ख मदभरे होंठों के पास लाकर बोला- मेरी जान, अपनी आँखें खोलो।

जब उसने अपनी आँखें खोलीं तो उसके सामने मेरा 7″ लंबा 2.5″ मोटा लंड पूरे शान के साथ बिल्कुल होंठों के पास खड़ा था।

उसने पहले मुझे देखा फिर धीरे से अपने होंठों को खोल कर मेरे लंड को अपने मुँह में ले लिया।

अब मज़े की बारी मेरी थी… मेरे पूरे शरीर में करेंट दौड़ गया, उसने मेरा पूरा लंड अपने मुँह में लेकर बहुत चूसा और जब मुझसे रहा नहीं गया तो मैंने बोला- प्रिया मेरा माल निकलने वाला है।

उसने बिना कुछ बोले अपने मुँह से और जोरों से मेरे लंड को चूसना शुरू कर दिया और आख़िरकार मैंने अपना सारा माल उसके मुँह में निकाल दिया जिसे प्रिया ने बड़ी ही कामुक अदा से पूरा चाट लिया।

अब मैं उसके शरीर पर ही निढाल हो गया, पर मेरा लंड अभी भी प्यासा था। उसकी असली चाहत प्रिया की गोरी मखमली चूत थी।
मैं प्रिया की जाँघों के बीच में आकर उसकी चूत पर अपने लंड को रगड़ने लगा।

प्रिया ने कहा- आर्यन मेरी जान.. अब मत सताओ.. फाड़ दो मेरी इस चूत को बहुत तड़पाया है इसने..

इतना सुनते ही मैं जोश में आ गया और लंड के सुपारे को धीरे-धीरे करके चूत के अन्दर घुसाना शुरू कर दिया।

दोस्तों, बहुत कसी हुई चूत थी…

हालांकि प्रिया तीन बार झड़ चुकी थी और उसकी चूत बहुत चिकनी हो चुकी थी, फिर भी कुँवारी होने की वजह से सुपारा बहुत मुश्किल से उस की चूत में फंसा था।

मैंने भी बिना किसी जल्दीबाजी के धीरे-धीरे और प्यार से घुसाया और जब प्रिया को थोड़ा मज़ा आने लगा तो मैंने चोदना शुरू कर दिया।

मुझे उस सिंधी चूत को चोदने में बहुत ही मज़ा आ रहा था।

‘आआहह आआहह सस्स्स.. चोदो..ओ..’ जैसी आवाजें निकालती हुई प्रिया फिर से झड़ गई और मैंने भी अब उसकी चूत में अपना माल निकाल दिया।

अब हम दोनों थक कर चूर हो चुके थे, पर प्रिया इतनी कामुक थी कि मैंने उसे पूरी रात चार बार जम कर चोदा।

मैं वहाँ पर अगले तीन दिनों तक रहा और हर दिन और रात उसकी जम कर चुदाई करता रहा।

तो दोस्तो, एक ऑनलाइन फ्रेंड के साथ यह मेरी चुदाई की दास्तान थी।

मेरे पास और भी बहुत कुछ है बताने को, पर वो मैं आप सभी की प्रतिक्रिया मिलने के बाद लिखूँगा।
कृपया आप सभी अपने सुझाव मुझे ईमेल करें।

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