होटल में गर्लफ्रेंड की बुर का मूहुर्त किया
देसी सेक्सी लड़की की पहली चुदाई मैंने की उसे होटल में लेजाकर. वो बड़े ही गदराए बदन की लौंडिया थी. उसके चूचे 34 इंच के एकदम कड़क संतरे के जैसे थे.
नमस्कार दोस्तो, मैं कई वर्षों से अन्तर्वासना का नियमित पाठक हूं, यहां की लगभग हर सेक्स कहानी मैंने पढ़ी है.
तो मेरे मन में भी ख्याल आया कि मैं भी अपने साथ हुई मस्त घटना को आप सबको बताऊं.
ये मेरी पहली सेक्स कहानी है, तो गलती हो जाना स्वाभाविक ही है, प्लीज़ वो सब नजरअंदाज कर देसी सेक्सी लड़की की पहली चुदाई का मजा लीजिएगा.
मेरा नाम समर शर्मा है और मेरी उम्र 22 साल है. मैं उदयपुर राजस्थान का रहने वाला हूं.
मेरे लंड का साइज काफी मस्त है, ये 6 इंच लम्बा और 2.5 इंच मोटा है, जो किसी भी चूत को अन्दर तक खोद कर उसे संतुष्ट करने के लिए पूरी तरह से सक्षम है.
मैं शुरू से ही कामुक प्रवृत्ति का लड़का रहा हूं.
अपनी इसी आदत के चलते मैंने अब तक बाइस चूतों की चुदाई की है, इनमें हर उम्र की चुत शामिल रही है.
कुछ मस्त भाभियां मेरे लौड़े की इतनी अधिक शैदाई रही हैं कि आज भी वो चुदने के लिए मुझे बड़े प्यार से बुलाती हैं. वो चुत में लंड लेने से पहले मेरे लंड की पूजा करती हैं. उस पर हल्दी रोली का टीका लगा कर उसे शहद कर प्रसाद लगाती हैं और उसे चूस कर चुदाई का कार्यक्रम आरम्भ करती हैं.
ये देसी सेक्सी लड़की की पहली चुदाई कहानी उन्हीं चुदाइयों में से एक है.
आज से करीब दो साल पहले जब मैं डॉक्टर की परीक्षा के लिए जयपुर में रह कर तैयारी कर रहा था, तो मेरी एक लड़की से बात होने लगी.
उसका नाम किरण था.
वो बड़े ही गदराए बदन की लौंडिया थी. उसके चूचे 34 इंच के एकदम कड़क संतरे के जैसे थे और एकदम सुडौल मम्मे थे. उसके टॉप में ऐसे तने तने रहते थे कि देखने पर ही लौड़ा खड़ा हो जाए.
हर किसी की निगाहें बरबस उसके मम्मों को एक बार देखे बिना नहीं रहती थीं. एक बार जिसकी नजर उसके चूचों पर पड़ जाती थी तो वो उसी पल उनको दबाने और चूसने की सोचने लगता था.
मैं खुद यही सोचता था कि इसके दूध दबाने को मिल जाएं, तो जन्नत मिल जाए.
उस कामुक हसीना की कमर 32 इंच की थी और पिछवाड़ा तो हाहाकारी था, मटकती गांड 36 इंच की थी. वो जब चलती थी तो उसके दोनों चूतड़ कुछ इस तरह से ऊपर नीचे होते थे, मानो मर्द के लंड को चिढ़ा रहे हों कि आजा भोसड़ी के घुस जा मेरी गांड की दरार में.
खैर … मुझे वो माल बेहद पसंद आ गया था. मैंने अपने अनुभव और पटाने की कला का प्रयोग करके उस देसी सेक्सी लड़की धीरे धीरे करके पटा ही लिया.
शुरुआत में हम दोनों की कॉलेज में ही हाय हैलो शुरू हुई. फिर फोन नम्बर एक्सचेंज हुए … तो हंसी ठिठोली से बातें शुरू होकर मुहब्बत की शायरियों तक मामला आ गया था.
अब हम दोनों रात रात फोन पर सेक्स चैट करने लगे थे.
फिर एक दिन मैंने उसे मेरे साथ होटल में जाने को तैयार कर लिया. उसने अपने घर पर बोल दिया कि वो ग्रुप स्टडी के लिए अपनी सहेली के रूम पर जा रही है.
होटल में चुदाई का प्रोग्राम फिक्स होने के बाद मैंने मेडिकल की दुकान से सारा जरूरी सामान ले लिया और ओयो होटल में एक एसी कमरा बुक करवा लिया.
मैं एक सूटकेस लेकर गया था ताकि होटल वालों को कोई शक न हो.
फिर हम दोनों पहले एक बस अड्डे के पास एक जगह पर मिले, ये जगह मैंने कुछ सोच समझ कर चुनी थी.
उसने मुझसे पूछा कि ये सूटकेस किस लिए लिया है? क्या कहीं बाहर चलने का इरादा है?
मैंने कहा- नहीं, बस होटल वालों को ये बताने के लिए लिया है कि हम लोग बाहर से आए हैं. ताकि उन्हें कोई शक न हो.
वो मेरी इस बात पर बेहद खुश हुई और बोली- हां यार, मैं यही सोच सोच कर डर रही थी कि कहीं कोई लफड़ा न हो जाए. मुझे होटल में जाने से यही सब लग रहा था.
मैंने कहा- हां ये तो है … मगर होटल में सभी सुविधाएं मिल जाती हैं, इसी लिए होटल चुना है, नहीं तो मैं भी होटल में जाना पसंद नहीं करता.
इसी तरह की बातें करते हुए मैंने एक ऑटो रोका और उसी होटल में पहुंच गया.
जल्दी ही हम दोनों होटल आ गए और मैंने होटल में एंट्री की सारी औपचारिकताएं पूरी की.
मैंने काउन्टर पर खुद को पति पत्नी लिखा था और उदयपुर से आया हुआ बताया था.
मेरा आधार कार्ड भी उदयपुर का ही था.
फिर ये सब खानापूरी करके हम दोनों कमरे में आ गए.
उस देसी सेक्सी लड़की भी पता था कि आज उसकी जमकर चुदाई होने वाली है और मेरे बदन में तो आग लग ही रही थी. तो माहौल गर्म हो चुका था.
इसलिए उसने अंगड़ाई लेते हुए मेरी तरफ देखा और बोली- आज कुछ ज्यादा ही गर्मी लग रही है … एसी चालू कर दो.
मैंने उसकी तनी हुई चूचियों को देखा और कहा- हा, आज आग बरसने वाली है, गर्मी तो बढ़ना पक्का है.
मैंने हंसते हुए एसी ऑन कर दिया.
वो भी मेरी तरफ देख कर हंसने लगी और बोली- बताओ तो आज गर्मी कैसे बढ़ने वाली है.
मैंने उसे अपनी बांहों में ले लिया और चूमते हुए कहा- क्या तुम्हें नहीं मालूम कि आज गर्मी कैसे बढ़ने वाली है!
वो मेरी आंखों में आंखें डालकर बोली- हां, आज हम दोनों की कुश्ती से गर्मी बढ़ने वाली है.
मैंने उसके दूध दबाए और कहा- सबसे ज्यादा आग तो तुम्हारे ये हथगोले बरसाएंगे.
वो हंस दी.
फिर हम दोनों लेट गए और ऐसे ही सेक्सी बातें करने लगे.
बात करते करते कब हम एक दूसरे के होंठों का रसपान बड़ी बेताबी से करने लगे, पता ही नहीं चला.
फिर मैंने अपने कपड़े उतार दिए तो मेरा लंड एकदम खड़ा होकर तम्बू बना हुआ था.
मेरा खड़ा लंड देखकर उसने अपना मुँह छिपा लिया.
मैंने उससे कहा- इससे शर्माना कैसा … इससे ही तो आज दंगल होगा.
वो हंस दी और लंड देखने लगी.
अब मैंने उसका टॉप उतार दिया.
दोस्तो, उसके चूचे देख कर तो मेरा लंड दर्द करने लगा.
इतने ज्यादा कसे हुए मम्मे थे कि वो बिना हुक लगाए ब्रा पहनती थी.
मैंने उसके टॉप को गर्दन से होकर उतारा और उसको बेतहाशा चूमने लगा. वो भी जमकर मेरा साथ देने लगी.
इस चुम्मा चाटी में मैंने कब उसकी पैंटी उतार दी, पता ही नहीं चला.
लड़की की पैंटी को अपने दांतों से उतारने का मजा ही कुछ और है. उसका ये पहली बार था, तो मैं कोई जल्दबाजी नहीं करना चाहता था.
मैंने सर से लेकर पांव तक उसके बदन को खूब चूमा और सहलाया.
कमरे का एसी चालू था … लेकिन उसकी मादक सिसकारियां इतनी गर्मी बढ़ा रही थीं कि एसी की ठंडक का एहसास ही नहीं हुआ.
अब असली खेल शुरू होने वाला था मतलब मेरा लंड उसकी चूत का खाता खोलने वाला था.
उसने मेरे लंड को मुँह में लेकर उसे एकदम कड़क कर दिया था. फिर उसने कंडोम के पैकेट से एक कंडोम निकाला और मेरे लंड पर चढ़ा दिया.
अब मैंने उसे अपने लंड पर बैठने के लिए बोला, लेकिन जैसे ही उसने मेरे लंड को अपनी चूत में डालने की कोशिश की, तो लंड चुत के अन्दर ही नहीं गया. कारण चूत का टाईट होना था.
पहली बार में भला कोई चुत कैसे लंड को अन्दर ले सकती थी. वो तो मैं उसे चैक कर रहा था कि बंदी खेली खाई है या कोरी है.
फिर मैंने आसन बदला और उसे चित लिटा कर अपनी दो उंगलियों से उसकी चूत को थोड़ा चौड़ा किया.
उसने भी लंड की गर्माहट को पाकर अपने दोनों पैर खुद ब खुद फैला दिए.
अब मैंने लंड का आगे का हिस्सा उसकी चूत पर कुछ देर रगड़ा. इससे वो देसी सेक्सी लड़की कुछ ज्यादा ही गर्म हो गई.
मैंने एक स्पेशल जैली लगे वाले कंडोम का प्रयोग किया था, इसलिए उसे लंड की रगड़ाई से चुत में होने वाला दर्द कुछ कम होने वाला था.
जब वो मस्त होकर अपनी गांड उठाने लगी थी, तभी मैंने एक बार में ही लंड चुत के अन्दर घुसा दिया.
उसको जैली लगे होने के बाद भी कुछ दर्द हुआ.
मगर मैं रुक कर थोड़ी देर उसे किस करने लगा.
फिर मैंने उसे चोदना चालू कर दिया. वो अब भी दर्द से कराह रही थी.
मैंने उसको बोला- तुम नीचे से मेरे लंड पर चोट मारो.
लेकिन उससे दर्द के चलते हो ही नहीं रहा था और उससे पहली बार की चुदाई होने के कारण भी नहीं हो रहा था.
फिर मैंने ही उसे अपने लंड के टोपे से चोदना शुरू किया. थोड़ी देर बाद मैंने उसकी जांघें फैला दी ताकि मुझे धक्के लगाने में दिक्कत न हो.
तभी मैंने एकदम से आधे से ज्यादा लंड उसकी चूत में घुसा दिया.
वो दर्द से जोर से चीखी, लेकिन होटल का रूम पूरा बन्द था … तो बाहर आवाज नहीं गई.
अब मैं दर्द से उसका ध्यान हटाने के लिए किस करने लगा. कभी होंठों पर कभी गर्दन पर.
जैसे ही वो थोड़ा सहज हुई … मैंने पूरा का पूरा मूसल उसके छेद में डाल दिया और उसकी कुंवारी चुत की सील भंग कर दी.
दर्द के मारे उसकी आंखों में आंसू आ गए थे.
फिर मैं थोड़ी देर रुका और फिर से जोर जोर से धक्के लगाने लगा.
अब उसे भी मज़ा आने लग गया था … तो वो ‘अम्म अहह ..’ की आवाजें निकाल रही थी.
उसकी मादक आवाजों से पूरा कमरा गूंज रहा था और वो भी मेरा पूरा साथ दे रही थी.
हमारी ताबड़तोड़ चुदाई का दंगल तकरीबन बीस मिनट तक चला.
इस बीच मैंने उसे अपने ऊपर लेकर लंड की सवारी भी करा दी थी.
चुदाई में मुझे उसके संतरे चूसने में बड़ा मजा आ रहा था.
उसने मेरे सीने पर अपने नाखून चुभाना चालू कर दिया था, तो मैं समझ गया कि इसका काम होने वाला है.
उसका बदन अकड़ने लगा था तो मैंने उसको उसको नीचे लिया और खुद ऊपर आ गया.
मैंने उसकी दोनों टांगों को अपने कंधे पर रखा और चूत में लंड को सैट करके धकापेल धक्के लगाने लगा.
मैंने अपनी रफ्तार राजधानी एक्सप्रेस के जैसे बढ़ा दी थी क्योंकि मेरा भी होने वाला था.
उसका तो बदन अकड़ ही गया था … लेकिन फिर भी वो अपनी मादक आवाजों से मेरा जोश बढ़ा रही थी.
कुछ ही धक्कों के बाद मैं भी उसके अन्दर ही झड़ गया और उसके ऊपर ही लेट गया.
चूंकि कंडोम लगा था, तो कोई डर नहीं था.
हम दोनों ऐसे ही नंगे लेटे रहे और किस करते रहे.
इससे हुआ ये कि कुछ ही देर में हम दोनों फिर से गर्म हो गए और फिर से चुदाई कार्यक्रम आरम्भ हो गया.
इस बार मैंने उसे घोड़ी बनाकर चोदा. वो मस्त गांड हिलाते हुए चुदी और मैंने भी उसके मम्मों को मसलते हुए उसकी चूत चुदाई का मजा लिया.
उस रात मैंने उस देसी सेक्सी लड़की 4 बार चोदा और चोद चोद कर उसकी फुद्दी को बुर से चूत बना दिया.
दोस्तो, ये थी देसी सेक्सी लड़की की पहली चुदाई कहानी, अगर आप लोगों को प्यार मिला, तो मैं अगली सेक्स कहानी में बताऊंगा कि कैसे मैंने उसे गांड मरवाने के लिए मनाया और कैसे उसकी मदद से कॉलेज की और लड़कियों की भी चुदाई की.
मुझे मेल करना न भूलें, मुझे आप लोगों के मेल का इंतज़ार रहेगा.
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धन्यवाद
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