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आज दिल खोल कर चुदूँगी-4 मेरी कहानी के पिछले तीन भागों में आपने पढ़ा था कि किस तरह मेरे पति ने मुझे रण्डी बना दिया जिसमें मेरी भी सहमति …
आज दिल खोल कर चुदूँगी-3 मेरी इस कहानी के पिछले दो भागों में आपने पढ़ा था कि किस तरह मेरे पति ने मुझे रण्डी बना दिया जिसमें मेरी भी …
आज दिल खोल कर चुदूँगी -5 उसने अपना लन्ड मेरे मुँह में से निकाला और बोला- बोल साली पहले रन्डी किधर डालूँ? मैं बोली- आज तक मैंने अपनी गाण्ड …
आज दिल खोल कर चुदूँगी -8 मेरे शरीर में तरावट आने लगी, सारा जिस्म मीठे जोश से भर गया, मुझे ऐसा लग रहा था कि मैं कभी ना झड़ूँ.. …
आज दिल खोल कर चुदूँगी -20 अब तक आपने पढ़ा..दीपक अनगिनत बार मेरी बुर से लण्ड को खींचता और बुर में डाल देता..तभी एकाएक उसने चुदाई की रफ़्तार बढ़ा …
आज दिल खोल कर चुदूँगी-17 अब तक आपने पढ़ा..मैं बिस्तर पर बैठे हुए ही झुककर महमूद का लण्ड ‘गपागप’ चूस रही थी। महमूद पीछे से मेरी चूत मलकर मेरी …
आज दिल खोल कर चुदूँगी- 15 अब तक आपने पढ़ा.. सुबह तक मेरे शरीर में मानो जान ही नहीं रह गई थी, मैं बिस्तर पर वैसे ही बेहोशी की …