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मैं रिश्ते-नाते भूल कर चुद गई-1 सारिका कँवलनमस्कार, मैं सारिका कँवल आप सभी पाठकों का धन्यवाद करना चाहती हूँ कि आप सबने मेरी कहानियों को इतना सराहा। मैं चाहती …
मैं रिश्ते-नाते भूल कर चुद गई-2 सारिका कँवलमैं लगभग नींद में थी कि मुझे कुछ एहसास हुआ मेरी टांगों में और मेरी नींद खुल गई। मैं कुछ देर यूँ …
मैं रिश्ते-नाते भूल कर चुद गई-7 Mai Chud Gai Rishte Naate Bhul Kar-7वो भी जब तैयार हो गए तो मैंने उनको कहा- बाकी रिश्तेदारों को खबर कर दीजिए कि …
मैं रिश्ते-नाते भूल कर चुद गई-6 सुबह करीब 6 बज रहे थे कि मुझे कुछ मेरी कमर पर महसूस होने लगा।मैंने गौर किया तो वो मेरे बदन को सहला …
मैं रिश्ते-नाते भूल कर चुद गई-5 Mai Rishte naate Bhool kar Chud Gai-5सारिका कँवललिंग अन्दर घुसते ही मुझे बड़ा आनन्द महसूस हुआ, उनके लिंग का चमड़ा पीछे की ओर …
मैं रिश्ते-नाते भूल कर चुद गई-4 सारिका कँवलवो मेरे ऊपर से हट गए और बगल में लेट गए। मैंने भी दूसरी और मुँह घुमा कर अपनी आँखें बंद कर …
मैं रिश्ते-नाते भूल कर चुद गई-3 सारिका कँवलमैंने और तड़प कर छटपटाने की कोशिश की, पर उनकी पकड़ इतनी मजबूत थी कि मेरा हिलना भी न के बराबर था। …